बायोसा माता विवाद: कथावाचक अभयदास महाराज का तुड़वाया अनशन
मंदिर में दर्शन से रोका तो अनशन पर बैठे थे संत!
मंत्री जोराराम कुमावत ने तुड़वाया अनशन, आश्वासन

राजस्थान के जालोर में बीते 48 घंटों से एक धार्मिक मुद्दे ने तूल पकड़ लिया था और वह है जालोर का बायोसा माता मंदिर विवाद..कथावाचक अभयदास महाराज और प्रशासन के बीच विवाद और उसके बाद उनका वीडियो संदेश का मुदृदा इतना गहराया कि मामला आमरण अनशन और प्रदेश की राजनीति तक जा पहुंचा।...नमस्कार, आप देख रहे हैं भारत रफ़्तार और मैं हूँ आपके साथ शैलेंद्र शर्मा। क्या है जालोर का बायोसा माता मंदिर का पूरा विवाद और मामला.. आइए जानते हैं विस्तार से।... दरअसल श्रावण मास में जालोर में चल रहे समरसता चातुर्मास महोत्सव में पहुंचे तखतगढ़ धाम भारत माता मंदिर के संत अभयदास महाराज ने बायोसा माता मंदिर में दर्शन की इच्छा जताई, लेकिन प्रशासन ने उन्हें वहां जाने से रोक दिया। प्रशासन का कहना था कि इलाके में कानून व्यवस्था के मद्देनजर धारा 144 लागू है। इसलिए आपको प्रवेश नहीं दिया जा सकता। इस पर अभयदास महाराज का आरोप था कि यह रोक धार्मिक भावना को आहत करने वाली है। महाराज का आरोप है कि प्रशासन ने बिना वजह मंदिर जाने से रोका। इसी के विरोध में उन्होंने कालका कॉलोनी की एक छत पर आमरण अनशन शुरू कर दिया।.. इसके बाद उनके एक वीडियो संदेश से सियासत में हलचल हो गई। अभयदास महाराज ने जारी अपने वीडियो संदेश में कहा: "हम संत समाज आपके साथ थे और रहेंगे, लेकिन मुझे अपनों से ही लड़ना पड़ रहा है। महाराज का आरोप है कि इस घटना में जालोर के कुछ बीजेपी कार्यकर्ताओं और स्थानीय नेताओं का भी हाथ है। उन्होंने यह भी दावा किया कि प्रशासन शुरू में उनके साथ था, लेकिन बाद में स्थिति बदल गई। उन्होंने दावा किया था कि प्रशासन ने बिना किसी वैध कारण के उन्हें मंदिर में प्रवेश से रोका और पुलिसकर्मियों ने उनके साथ धक्का-मुक्की की, जिससे उनकी धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंची। एसपी, डीएम और डिप्टी को निलंबित किया जाए वरना मैं लाखों समर्थकों के साथ जालोर किले की ओर बढ़ूंगा। यह वीडियो वायरल होते ही प्रदेश में चर्चाओं का दौर शुरू हो गया। वीडियो के माध्यम से महाराज ने अपनी तीन मांगे रखी। पहली एसपी, डीएम और डिप्टी को सस्पेंड किया जाए। दूसरी मंदिर के आसपास का अतिक्रमण हटाया जाए और तीसरी घटना की उच्चस्तरीय जांच हो। इसके बाद उनके समर्थकों ने रातभर जालोर में प्रदर्शन किया और शनिवार सुबह तक उनका कूच जारी रहा। इस घटना ने स्थानीय स्तर पर तनाव बढ़ा दिया है। वहीं, सोशल मीडिया पर भी यह मुद्दा चर्चा का विषय बना हुआ है। तो इस मामले का समाधान करने के लिए आज शनिवार सवेरे प्रदेश की भाजपा सरकार के मंत्री जोराराम कुमावत जालोर पहुंचे। प्रशासन और महाराज के बीच बातचीत हुई। महाराज के साथ तीनों मांगों पर सहमति बनी। मंत्री कुमावत ने अतिक्रमण हटाने का आश्वासन, उच्चस्तरीय जांच का वादा और अधिकारियों पर कार्रवाई की मांग पर विचार करने की बात कही। इसके बाद मंत्री ने अभयदास महाराज को नारियल पानी पिलाकर अनशन तुड़वाया और महाराज को खुद मंदिर दर्शन के लिए लेकर गए। इसके बाद फिलहाल क्षेत्र में शांति है।